Relational Algebra in DBMS
Relational Algebra in DBMS in Hindi with Examples, Relational Algebra rules, Relational Calculus in DBMS
Relational Algebra in DBMS in Hindi
Relational Algebra रिलेशनल मॉडल ऑपरेशन का एक आधारभूत सेट रिलेशनल एल्जेब्रा का निर्माण करता है, एल्जेब्रा ओपरेशन नये रिलेशन उत्पन्न करते है जो की उसी एल्जेब्रा के ऑपरेशन्स को प्रयोग करके आगे की और मैनिपुलेट होते है, रिलेशन एल्जेब्रा ओपरेशन का एक निश्चित क्रम रिलेशन एल्जेब्रा एक्सप्रेशन को बनाता है जिसका परिणाम भी एक रिलेशन होगा
रिलेशन एल्जेब्रा ओपरेशन को सामान्यत दो भागो में विभाजित किया जा सकता है-
1. मेथेमेटिकल सेट थ्योरी से सेट ओपरेशन
2. रिलेशन डाटाबेस के लिए ओपरेशन निर्माण
रिलेशन एल्जेब्रा ओपरेशनो का एक समूह है जो रिलेशन को प्रबंधित करता है, यह एक प्रोसीजरल लैंग्वेज है ये ओपरेशन को मोजूद रिलेशन पर रिजल्ट रिलेशन को क्रियान्वित करने के लिए निश्चित करता है, ये प्रत्येक रिजल्ट रिलेशन के लिए सम्पूर्ण स्कीमा को भी स्पष्ट करता है, रिलेशनल एल्जेब्रिक ऑपरेशन्स, सेट ओरियन्टेड ओपरेशन और रिलेशन ओरियन्टेड ओपरेशन में विभाजित किया जा सकता है –
1. Select
2. Project
3. Union
4. Set Difference
5. Cartesian Product
6. Rename
7. Intersection
8. Division
9. Join
10. Natural Join
Select Operation (σ) – सेलेक्ट ओपरेशन उन पंक्तियों को चुनते है जो एक दी गयी स्थिति को स्पष्ट करते है, ग्रीक लैटर सिगमा (Sigma-σ) का यूज़ सिलेक्शन को दर्शाने के लिए किया जाता है, कन्डीशन को σ के सबस्क्रिप्ट की तरह दर्शाया जाता है, आर्गुमेंट रिलेशन σ बाद कोष्टक में दर्शाया जाता है
सामान्यत तोर पर हम सलेक्शन प्रेडीकेट में =, ≠, <, >, ≤, ≥ आदि कम्पेरिजन का उपयोग करते है हम बड़े प्रेडीकेट में कई प्रेडीकेट को कनेक्टिव And ^ Or ^ Not ¬ के उपयोग द्वारा एकत्रित करते है
For example-
σDepartment = “Account” (Emp-Salary) |
Output -
Emp_No. | Emp_Name | Department | Salary |
00124 | rohan Jain | Advertisment | 25,000 |
00520 | payal Singhal | Advertisment | 15,000 |
For example-
σDepartment = “Sales” ^ Salary > 11000 (Emp-Salary) |
Output -
Emp_No. | Emp_Name | Department | Salary |
00145 | Rakhi sharma | Sales | 12,000 |
00550 | Purva | Sales | 18,000 |
Project Operation (∏) – एक रिलेशन का प्रोजेक्शन एट्रीब्युटो के कुछ सेट ऊपर इसके सभी टपल के प्रोजेक्शन की तरह स्पस्ट किया जाता है, ये रिलेशन का वर्टिकल सबसेट उत्पन्न करता है, प्रोजेक्शन रिलेशन का उपयोग परिणाम रिलेशन में एट्रीब्युट्स की संख्या में किसी न किसी नंबर को कम करने के लिए किया जाता है
प्रोजेक्ट ओपरेशन एक यूनेरी ओपरेशन होता है जो इसके आर्गुमेंट रिलेशन विशिष्ट एट्रीब्युट लेफ्ट के साथ वापस करता है, हम query को सभी Emp_No. और Employee की सैलरी को इस प्रकार सूचीबद्ध करने के लिए लिख सकते है
∏Emp-No, Salary (Emp-Salary)
Union Operation (U) – दो सेटों का यूनियन उन सभी डाटा को मिलाता है जो एक या दोनों रिलेशन में से एक को प्रदर्शित करता है
दो सेटों का यूनियन, दोनों सेटों से सम्बंधित सभी एलिमेंट्स का सेट होता है, सेट जिसका परिणाम यूनियन से प्राप्त होता है, डुप्लीकेट एलिमेंट को छोड़ दिया जाता है, उनियां ओपरेशन υ द्वारा दर्शाया जाता है जो दो रिलेशन के डाटा को मिलाता है
For example - टबेल A उन स्टूडेंट्स की सुचना स्टोर करती है जिनके पास गणित विषय है और टेबल B उन स्टूडेंट्स की सुचना स्टोर करती है जिनके पास कंप्यूटर विषय है
Set Difference (−) – दो सेट्स के मध्य का अंतर एक सेट को उत्पन्न करता है, जो एक सेट के सभी मेम्बरों को समिलित करता है, जो अन्य सेट्स में नही होते है
Cartesian Product (X) - दो रिलेशन का cartesian प्रोडक्ट टपल्स की शृंखला होती है जो दो रिलेशन से सम्बंधित होती है, एक नई रिलेशन रिजल्ट स्कीम, टपल्स के सभी संभव कॉम्बिनेशन के साथ बनाई जाती है ये X द्वारा प्रदर्शित किया जाता है हम रिलेशन A और B के cartesian प्रोडक्ट को A X B की तरह लिखते है
Table A (Student Table) | Table B | |||
Std._Id. | Std._Name | Subject | ||
01231 | Ritu Mehra | Maths | ||
01244 | Priya Sharma | Physics | ||
01277 | Rohit Verma | |||
01233 | Jyoti Gupta | |||
01289 | Shashank singh |
Rename Operation (ρ) - डाटाबेस में असमान रिलेशन, रिलेशनल एल्जेब्रा के परिणाम एक नाम नही रखते है जिनका उपयोग हम रेफर करने को कर सकते है, ये नेम्स इन्हें, रीनेम ओपेरटर को इन्हें देने के लिए उपयोगी होते है जो ग्रीक लैटर rho द्वारा प्रदर्शित किया जाता है
Intersection Operation (∩) - दो सेटों का intersection ऐसे सेट को उत्पन्न करता है जो उन सभी एलिमेंट को समिलित करता है जो दोनों सेट्स के लिए सामान्य होते है ये ∩ द्वारा प्रदर्शित किया जाता है, ये ऑपरेशन वास्तव में अनावश्यक होता है ये बड़ी आसानी से A ∩ B = A – (A-B) की तरह प्रदर्शित किया जा सकता है.
Division Operation (÷) - ये ऑपरेशन उन query को सूट करता है जो फ्रेज (For All) को समिलित करती है
Join Operation - Join ऑपरेटर दो रिलेशन के कॉम्बिनेशन का अनुसरण करते है, जिससे वह एक नये रिलेशन को प्राप्त करता है ऑपरेन्ड रिलेशन से जो टपल ऑपरेशन में भाग लेते है और परिणाम में योगदान देते है सम्बंधित होते है
Natural Join Operation – नेचुरल जॉइन में डोमेन कम्पीटेबल एट्रिब्यूट के दो सेटों में से केवल एक को ही नेचुरल जॉइन रिलेशन में रखते है
Relational Calculus in DBMS
रिलेशन एल्जेब्रा में query प्रोसीजरल होती है एक यूजर को प्राप्त होने वाली सुचना के कारण के विस्तृत रूप के साथ मतलब नही रखना चाहिए, रिलेशन कैलकुलस में query, वेरिएबल्स के नंबर के सम्मिलित सूत्र की तरह प्रदर्शित होती है
रिलेशन कैलकुलस एक query सिस्टम होता है जहाँ पर querys in वेरिएबल के सूत्रों की तरहा ही प्रदर्शित की जाती है, रिलेशन कैलकुलस के दो भाग होते है –
1. Tuple Relation Calculus (TRC)- Tuple रिलेशन कैलकुलस एक नॉन प्रोसिजरल query लैंग्वेज है ये इच्छित सुचना को इस सुचना के प्राप्त होने के लिए प्रक्रिया को निर्धरित किये बिना ही वर्णित करती है, टपल कैलकुलस में एक query {t ׀ p(t)} की तरह प्रदर्शित की जाती है
एक टपल रिलेशन कैलकुलस फार्मूला, एटमो से बना होता है, हम फार्मूला को नियमो का यूज़ करके एटम द्वारा बनाते है example – हम Emp-No. और Employee सैलरी को 1000 से निकलना चाहते है तो –{ t | t ∈ Emp-No. ^ ∈ [Salary] > 10000 }
2. Domain Relation Calculus (DRC) – डोमेन रिलेशन कैलकुलस डोमेन वेरियबल का उपयोग करता है जो सम्पूर्ण टपल के लिए वैल्यू लेने की अपेक्षा विशेष डोमेन से वैल्यू को लेता है, डोमेन रिलेशन कैलकुलस घनिष्ट रूप से टपल रिलेशन कैलकुलस के साथ सबन्धित होता है, डोमेन रिलेशन कैलकुलस में समीकरण इस फॉर्म में होता है-
{a1, a2, a3, ..., an | P (a1, a2, a3, ... ,an)}
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